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तृणमूल और भाजपा के बिच आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी है उसी तरह बालू कोयला माफियाओ का काला कारनामा भी जारी

हिन्द संबाद आसनसोल साबिर अली, आसनसोल, : अवैध बालू खनन के लिए इस बार नदी के किनारे अस्थाई बांध बनाया गया है. दामोदर नदी पर इस अस्थायी बांध के निर्माण का आरोप आसनसोल के कुल्टी थाना क्षेत्र में लगाया गया। इससे बालू माफिया या फिर अवैध कारोबारियों की गतिविधि सामने आई है. जहां नदी से बालू निकालने के उद्देश्य से नदी पर अस्थाई बांध बनाए गए हैं। आसनसोल के कुल्टी थाना क्षेत्र के शीतलपुर क्षेत्र से दामोदर से रेत की तस्करी धड़ल्ले से हो रही है. वहीं, राज्य की सत्ताधारी जिस तरह तृणमूल कांग्रेस और भाजपा के बिच कोयला बालू तस्करी को लेकर आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी है उसी तरह बालू कोयला माफियाओ का काला कारनामा भी जारी है आखिर इस काला बाज़ारी में किशका हाथ है जो निडर हो कर माफियाओ का राज चल रहा है बिना खौफ अवैध धंधा में बे लाइसेंसी ट्रैक्टर सड़क पर दौड़ ह।आरोप-प्रत्यारोप लगाए जा रहे हैं और छूट के साथ सरपरस्ती भी दिया है.पार्टी के पूर्व विधायक और तृणमूल कांग्रेस के नेता उज्ज्वल चटर्जी ने रेत खनन को अन्यायपूर्ण और असामाजिक करार दिया। लेकिन यह घटना कोई नई घटना नहीं है, उस इलाके से बालू की तस्करी लंबे समय से ऐसे ही चलती आ रही है.फिर अब तक कुछ क्यों नहीं किया ? इस संदर्भ में उज्जवलबाबू ने कहा कि प्रकृति के खिलाफ कभी भी कुछ नहीं करना चाहिए। ऐसा करने वालों को कभी छूट नहीं दी जाएगी। उन्हें कड़ी से कड़ी सजा मिलनी चाहिए। उन्होंने आगे कहा कि हमारी पार्टी की नेता और मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने रेत और कोयले के अवैध व्यापार को रोकने के निर्देश दिए हैं. हमारे नेता और कार्यकर्ता को इसमें शामिल न होने की चेतावनी दी है। पुलिस और प्रशासन राज्य सरकार के निर्देशानुसार इसे रोकने के लिए कदम उठाएंगे। वहीं कुल्टी के भाजपा विधायक डॉ. अजय पोद्दार ने कहा कि इस तरह की हरकत किसी भी तरह से स्वीकार्य नहीं है. लेकिन अगर राज्य सरकार कुछ करती है। मैंने पहले ही प्रशासन से इस मामले पर चेक डैम बनाकर समस्या का समाधान करने की अपील की है। उन्होंने आगे कहा कि यहां सरकार ऐसे ही चल रही है कुछ दिन पहले सत्ता पक्ष के नेताओं ने थाने का घेराव कर इस रेत और कोयले को लेकर विरोध प्रदर्शन किया था. क्यों था ? प्रदेश में नकली टीकों से लेकर सब कुछ चल रहा है। संयोग से, रेत माफिया और रेत के अवैध व्यापार पर अंकुश लगाने के लिए पिछले गुरुवार को राज्य कैबिनेट की बैठक में नई नीति की घोषणा की गई थी। कैबिनेट बैठक में तय किया गया है कि कोई शिकायत मिलने पर कार्रवाई की जाएगी। किसी को छूट नहीं दी जाएगी। चाहे वह अधिकारी हो, सरकारी कर्मचारी हो और किसी राजनीतिक दल का नेता हो। अब तक बालू-पत्थर का पट्टा बांटने की जिम्मेदारी जिलाधिकारी के पास थी। बालू कोयला पत्थर के साथ साथ अवैध ईटा भट्टा भी जोरो पर चल रहा है और ये अवैध धंधे में लगे ट्रेक्टर जो है उनके ना तो कागजात सही है और ना चालक का लाइसेंस है सब लेवर ही बारी बारी कर ट्रेक्टर चलाते है और दुर्घटना को अंजाम देते है लिथुरिया रोड से लेकर जीटी रोड में मौत के शाया में लोग आवाजाही करते है य। बालू-पत्थर का पट्टा बांटने की जिम्मेदारी जिलाधिकारी के पास थी, अब से खनिज एवं खनिज निगम को दिया जा रहा है।

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