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व्यापार बंद बेखौफ जारी है नशे का कारोबार पुलिस भी क्या करे समाज से सहयोग नहीं

हिन्द संबाद आसनसोल इम्तियाज़ खान : लॉकडाउन में बेखौफ जारी है नशे का कारोबार कोरोना वायरस की दूसरी लहर रोकने के लिए देश के विभिन्न प्रदेशों में लॉकडाउन जारी है। ज्यादातर व्यापार बंद हैं। एक स्थान से दूसरे स्थान जाने वाले वाहनों पर कड़ी निगरानी है। लेकिन नशे का काला कारोबार चालू है। नशे की प्रतिबंधित वस्तुओं की आवाजाही बेखौफ होकर जारी है। कोरोना महामारी और लॉकडाउन का नशे के कारोबारियों पर कोईं खास असर दिखाईं नहीं दे रहा है।नशे के सौदागरों के पौ बारह हो रहे है। कोरोना कफ्र्यू के दौरान अनेक स्थानों पर गांजा, अफीम जैसे मादक पदार्थो के साथ म्यूजिक पाटा के समाचार भी सरुखियां लिए हुए है। पुलिस की सख्त चौकसी के बावजूद नशे का कारोबार का खूब फल-पूल रहा। है। तस्करों की हौसले बुलंद है। लॉकडाउन में भीझारखण्ड बिहार बंगाल के सीमावर्ती इलाकों में नशीली दवा की तस्करी में कमी नहीं आईं है। बहुत से नशे के तस्कर और प्रतिबंधित नशीले पदार्थो का सेवन करने वाले लोग पुलिस और अन्य सरकारी एजेंसियों के हत्थे भी चढ़ रहे है जिनसे लाखों, करोड़ों के मादक पदार्थ बरामद किये जा रहे है सनद की कुछ हफ्तों पहले कुल्टी पुलिस ने गुप्त सुचना के आधार पर संकटोईया में उमर अली मोल्ला के नेतृत्व में कुल्टी पुलिस ने एक ट्रक भरा बिदेशी शराब जब्त था जो लाखो की थी। फिर कल ही आसनसोल उत्तर थाना अंतर्गत एनएच 2 रेलपार के पास गुप्त सूचना के आधार पर छापामारी कर पांच लोगों को गांजा के साथ गिरफ्तार किया गया । गिरफ्तार लोगों की पहचान मिस्टर खान(अशगर), फैयाज हैदर, मो. आजाद, मो. रियाज हैदर तथा गयासुद्दीन खान बताया गया है। गिरफर सभी आरोपी रेलपार इलाके रहने वाले हैं। पुलिस ने इनलोगों के पास से 23 किलो अवैध गांजा बरामद किया। मौके पर उनके मौजूद वाहन को भी जप्त किया गया। बुधवार को आरोपियों को कोर्ट में पेश किया गया। इस दौरान पुलिस उनके निशानदेही पर और गांजा की बरामदगी तथा इस धंधे से जुड़े अन्य लोगों की गिरफ्तारी के लिए आरोपियों को चौदह दिनों की पुलिस रिमांड की मांग की गई। कोर्ट ने आरोपियों को सात दिन की रिमांड पर पुलिस को दिया।इसी कर्म में सलानपुर थाना पुलिस ने सलानपुर के नकराजोड़ीया गांव में छापमारी कर अवैध शराब के साथ मनोज रवानी और राहुल रवानी को गिरफ्तार किया। वहीं दूसरी ओर हीरापुर थाना पुलिस ने भी अवैध शराब बिक्री मामले में बर्नपुर इलाका में छापामारी कर राकेश मंडल को गिरफ्तार किया। बुधवार आसनसोल कोर्ट में तीनों को पेश किया गया। तीनों की जमानत मंजूर कर रिहा कर दिया। छापामारी के दौरान पुलिस ने उनके पास से अवैध शराब बरामद की थी। अखबारों में इन दिनों छप रही खबरों पर नजर डालें तो नशे के काले कारोबार, मादक पदार्थो की तस्करी, प्रतिबंधित नशीली दवाओं विव्रेताओं पर छापामारी, सरकारी एजेंसियों द्वारा की जा रही धरपकड़ की खबरें बहुतायत से पढ़ने को मिल जाएंगी। छापेमारी के दौरान बड़ी मात्रा में गांजा, चरस, तंबावू, , अवैध शराब और नशीली टेबलेट तथा कफ सिरप बरामद किया जा रहा है। नशे के शौकीन लोग अपनी तलब पूरी करने के लिए तरहतरह के जतन कर रहे है। एक मिडिया रपट के अनुसार आसनसोल में हर साल करीब लाखो करोड़ो रुपये का ड्रग कारोबार किया जाता है। यह आकलन एजेंसियों द्वारा जब्त की गईं ड्रग्स और सूचना के आधार पर किया गया है। यह भी कहा जा रहा है ये तो वे आंकड़े है जो जब्ती के है। असल में इससे भी कईं गुना है नशे का काला कारोबार। नशे की प्रवृत्ति में वृध्दि के साथ-साथ अपराधियों की संख्या में भी वृध्दि हो रही है। विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार शराब को छोड़कर दुनिया में लगभग पांच करोड़ लोग मादक पदार्थो के सेवन से जुड़े हैं।
लाखों युवाओं के नशे की चपेट में आने की वजह से मरने वालों की संख्या भी लगातार बढ़ी है। इन राज्यों में नशीले पदार्थो की तस्करी करने वालों का पूरा गिरोह एक नेटवर्व के रूप में काम कर रहा है। एक सव्रे के अनुसार देश की जनसंख्या में 65 प्रतिशत युवा हैं जिनकी उम्र 35 वर्ष से कम है और 135 करोड़ की आबादी में से आधे देश की आबादी की उम्र 25 वर्ष से कम है इनमें 90 प्रतिशत युवा नशे का शिकार हैं किसी को भी यह आंकड़ा चौकाने वाला लग सकता है। मगर यह हकीकत है। पंजाब नशे का सबसे बड़ा और संवेदनशील गढ़ है आज वहाँ राज्य का हर चौथा नौजवान किसी न किसी तरह के नशे की गिरफ्त में है। उत्तराखंड में 70 प्रतिशत , हरियाणा में 63 प्रतिशत लोग भांग और गांजा लेने के आदी हैं। राजधानी दिल्ली में 76.7 प्रतिशत आबादी तबांवू का सेवन करती है उसमें 2.8 प्रतिशत महिलाएं गुटखा-पान मसाला खाती हैं। देश में नशे का प्रचलन यूँ ही बढ़ता रहा तो भारत को नशेड़ी देश बनते देर नहीं लगेगा। आज नशे ने पंजाब को जलाया है कल समूचा देश धूं धूं कर जलेगा। पंजाब और नशे का रिश्ता काफी पुराना और गहरा है। पंजाब नशीले पदार्थो के मामले में देश में पहले नंबर पर आता है। इसमें कोईं दो राय नहीं है कि पंजाब में मादक पदार्थ माफिया, पुलिस अधिकारियों और राजनीतिज्ञों का बड़ा गठजोड़ है। इसी गठजोड़ ने हरे भरे पंजाब को मौत की दहलीज तक पहुंचा दिया है। यह भी सच है कि नशे में एक नहीं अपितु अनेक दुर्गुण है। इन दुर्गुणों के कारण भला चंगा व्यत्ति अपनी सुध बुध खोकर जघन्य अपराधों में लिप्त हो गया है। छेड़छाड़, बलात्कार और लूट जैसे गंभीर अपराध भी नशे के कारण ही समाज और देश को बर्बाद करने पर तुले है। आज पंजाब जल रहा है और कल पूरा देश इसके चपेट में आने से कोईं भी नहीं रोक पायेगा। सव्रे के अनुसार भारत में गरीबी की रेखा के नीचे जीवन यापन करने वाले लगभग 37 प्रतिशत लोग नशे का सेवन करते हैं। देश में नशाखोरी में युवावर्ग सर्वाधिक शामिल है। मनोचिकित्सकों का कहना है कि युवाओं में नशे के बढ़ते चलन के पीछे बदलती जीवन शैली, परिवार का दबाब, परिवार के झगड़े, इन्टरनेट का अत्यधिक उपयोग, एकाकी जीवन, परिवार से दूर रहने, पारिवारिक कलह जैसे अनेक कारण हो सकते हैं।आसनसोल सीमावर्ती इलाका होने के वजह से और ज़्यादा ये धंधा फल फूल रहा है पुलिस भी क्या करे समाज से सहयोग नहीं मिल रहि है।

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